नई दिल्ली। यस बैंक के लगभग 40, हजार ग्राहक विदेशों में यात्रा के दौरान वित्तीय संस्थान की परेशानियों के कारण मुश्किल में फंस गए हैं। इन ग्राहकों के पास यस बैंक डेबिट और फॉरेक्स कार्ड हैं। जिन्होंने कैश करंसी के बदले फॉरेक्स प्रीपेड कार्ड खरीदा है। ये ग्राहक आमतौर पर अपने होटल का भुगतान, रेंट, यात्रा और यहां तक कि भोजन का भुगतान करने की स्थिति में नहीं हैं। वित्तीय संस्थान के ग्राहक एसओएस संदेश भेज रहे हैं।
एक विदेशी मुद्रा कार्ड ऑपरेटर ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, 'एक ड्राफ्ट की तरह फॉरेक्स प्रीपेड कार्ड भी प्रीपेड होता है। यह अचानक हुई घटना एक ऐसा मुद्दा है जिससे विदेशों में बसे सैकड़ों भारतीय फंस गए हैं, जिसके परिणामस्वरूप उनकी नकदी उन तक नहीं पहुंच रही है। यह एक ऐसी स्थिति है कि आप विदेश में यात्रा कर रहे हैं और आपका डेबिट और क्रेडिट स्वीकार नहीं किया जा रहा है। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने यस बैंक से प्रति व्यक्ति द्वारा अधिकतम 50,000 रुपये निकालने की सीमा तय की है।
हालांकि इलाज के लिए, हायर एजुकेशन या विवाह खर्च के भुगतान के लिए 5 लाख रुपये तक निकालने की छूट दी गई है। प्रीपेड फॉरेक्स कार्ड धारक येस बैंक के ग्राहकों ने ट्वीट कर अपनी रकम उपलब्ध नहीं होने की शिकायत की है। विदेश में पढ़ाई कर रहे हर्ष वाधवा ने कहा- मुझे किराया देना है लेकिन मेरे कार्ड में पैसे होने के बावजूद मैं रकम नहीं निकाल पा रहा हूं। सौमित्र चक्रवर्ती ने ट्विटर पर बताया कि वह कनाडा में हैं और उनके पास धन का एकमात्र स्त्रोत फॉरेक्स कार्ड है।
उन्होंने विदेश मंत्री जयशंकर को ट्विटर पर टैग किया और लिखा, आप मेरी कार्ड सर्विसेज कैसे बंद कर सकते हैं? मैं मुश्किल में फंसा हूं। हालांकि यस बैंक ने शनिवार को जानकारी दी है कि उसके सिस्टम चालू हैं और डेबिट कार्ड-एटीएम के जरिए पैसे निकाले जा सकते हैं। यस बैंक ने ट्वीट किया था, आप यस बैंक के डेबिट कार्ड का इस्तेमाल कर यस बैंक और अन्य बैंकों के एटीएम से रकम निकाल सकते हैं।
आपके संयम के लिए धन्यवाद। वित्तीय संस्थान ने यह भी स्पष्ट किया है कि RTGS/NEFT के जरिए पेमेंट सहित सभी ऑनलाइन रेमिटेंस अभी बंद है। क्लीयरिंग एक्टिविटीज शुरू होने पर लिमिट तय EMI का भुगतान किया जाएगा। पहले से जारी किए गए चेक का क्लीरिंग एक्टिविटीज दोबारा शुरू होने या RBI से निर्देश मिलने तक भुगतान नहीं होगा।