रामगढ़। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के राज्य सचिव भुवनेश्वर प्रसाद मेहता ने शुक्रवार को कहा कि झारखंड के किसानों को यदि जमीन के बदले नौकरी नहीं दी जाएगी तो प्रदेश से कोयला बाहर नहीं जाने दिया जायेगा। पूर्व सांसद मेहता ने यहां कहा कि सरकारी उपक्रम कोल इंडिया ने जमीन के बदले नौकरी नहीं देने का निर्णय लिया है। यदि किसानों को जमीन के बदले नौकरी नहीं दी जाएगी तो झारखंड से एक छटाक भी कोयला बाहर नहीं जाने दिया जायेगा।
देश में 37 प्रतिशत कोयले का उत्पादन झारखंड में होता है। केंद्र सरकार राज्य में कई कोल ब्लॉक निजी हाथों में सौंप चुकी है और आगे भी सौंपने जा रही है। मेहता ने कहा कि पहले से संचालित खदानों को भी बंद करने कि साजिश हो रही है। निजी कंपनियों को लाभ पहुंचाने के लिए और अपने फायदे के लिए किसानों पर कहर ढाने की कोशिश पार्टी बर्दाश्त नहीं करेगी।
मेहता ने आगे कहा कि राज्य के अंदर वामदलों एवं सामाजिक संगठनों को मिलाकर केंद्र सरकार की नई नीतियों के विरोध में वृहद आंदोलन चलाया जाएगा और झारखंड में एक भी कोल ब्लॉक उतरने नहीं दिया जाएगा। पहले से भी जो कोयला खदानें चल रही हैं उसके भी उत्पादन और डिस्पैच को बंद किया जाएगा। भाकपा नेता ने कहा कि केंद्र सरकार प्रदेश के किसानों पर लगातार हमला कर रही है। ओने-पौने भाव में पहले किसानों की जमीन ले ली गयी, अब नौकरी देने के नाम पर टालमटोल की रवैया अपना रही है । जमीन की प्रवृत्ति को बदलकर खदाने चलाई जा रही है।