कोरोना वायरस के बारे में तो आज बच्चा बच्चा जान गया है क्योंकि इसी कोरोनावायरस के प्रकोप ने भारत सरकार को 21 दिनों के लिए पूरे देश में लॉक डाउन का कानून लागू करने पर मजबूर किया है। भारत सरकार जनता की जिंदगी के बारे में बिल्कुल भी कोताही बरतना नहीं चाहती। यही वजह है कि उसने आनन-फानन में पूरे देश को लॉकडाउन करने की घोषणा की।
मोदी सरकार का देश को लोक लॉक डाउन करने का फैसला ऐतिहासिक है क्योंकि इससे पहले ऐसा कभी नहीं हुआ था। भारत के लॉक डाउन को लेकर संयुक्त राष्ट्र ने भी बयान देते हुए कहा कि हम कोरोनावायरस से जंग करने में भारत के साथ खड़े हैं। हालांकि डब्ल्यूएचओ ने यह कहकर भारत की चिंता बढ़ा दी है कि लॉक डाउन से कोरोनावायरस खत्म नहीं होगा बल्कि इस वायरस पर हमला करने की जरूरत है।
भारत में लॉक डाउन 14 अप्रैल तक लागू रहेगा। इसको देखते हुए मायावती ने भी एक बयान दिया है। उन्होंने ट्विटर पर कहा है कि देश की 130 करोड़ गरीब मेहनतकश जनता पर 21 दिनों के लिए लॉक डाउन वाली पाबन्दियों को कड़ाई से लागू करने के बाद खासकर लोगों का पेट भरने अर्थात उनकी रोजी-रोटी की समस्या को दूर करने के लिए केंद्र व राज्य सरकारों द्वारा राहत पैकेज की व्यवस्था बहुत ही जरूरी। इस पर तुरंत ध्यान दें।