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भारत की पहली महिला फाइटर पायलट Avani Chaturvedi ने विदेशी आसमान में दिखाई देश की ताकत

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Jan 30 2023 3:56PM | Updated Date: Jan 30 2023 3:56PM
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नई दिल्ली। भारत की बेटी ने जापान के आसमान की ऊंचाइयों को छूकर इतिहास रच दिया है। बात हो रही है भारत की पहली महिला फाइटर पायलट अवनी चतुर्वेदी की, जिन्होंने विदेश में हवाई युद्ध अभ्यास में हिस्सा लिया। वीर गार्डियन 2023 भारतीय दल का हिस्सा बन अवनी ने भारत और जापान के बीच हुए पहले संयुक्त हवाई युद्ध अभ्यास में भाग लिया। ये युद्धाभ्यास हयाकुरी एयरबेस पर हुआ। सफेद शेरों की नगरी रीवा से पली-बढ़ीं भारतीय वायुसेना की महिला फाइटर अवनी ने पहली बार देश के बाहर होने वाली हवाई युद्धाभ्यास में हिस्सा लिया। स्क्वॉड्रन लीडर अवनी उन 3 भारतीय महिलाओं में से एक थीं, जो जून 2016 में पहली बार महिला फाइटर पायलट बनीं।

पहली बार विदेशी जमीन पर अपना रणकौशल दिखाने वाली अवनी ने सुखोई फाइटर प्लेन उड़ाया। बता दें कि ये अभ्यास 16 से 26 जनवरी तक चला। इस अभ्यास के लिए भारतीय वायुसेना की तरफ से चार सुखोई-30 MKI, दो C-17 और एक IL-78 विमान और जापान के चार F-2 और चार F-15 फाइटर जेट शामिल हुए। फाइटर जेट उड़ाने वाली पहली भारतीय महिला पायलट अवनी चतुर्वेदी युद्ध की स्थिति में सुखोई जैसे विमान को भी उड़ा सकती हैं। मध्य प्रदेश के रीवा में पली-बढ़ीं स्क्वॉड्रन लीडर अवनी ने राजस्थान के वनस्थली यूनिवर्सिटी से कंप्यूटर साइंस में बीटेक किया। अपने पढ़ाई के दौरान उन्होंने कॉलेज के फ्लाइंग क्लब को ज्वाइन किया और विमान उड़ाना सीखा। बीटेक की पढ़ाई पूरी होने के बाद अवनी ने हैदराबाद स्थित एयरफोर्स एकेडमी से 6 महीने की कठिन ट्रेनिंग पूरी की। ट्रेनिंग पूरी होने के बाद अवनी ने फाइटर स्क्वॉड्रन में शामिल हुई।

वर्ष 2018 में फ्लाइंग अवसर के तौर पर अवनी पहली भारतीय महिला बनीं, जिन्होंने MIG-21 फाइटर प्लेन अकेले उड़ाया। इस समय अवनी सुखोई 30 एमकेआई फाइटर प्लेन उड़ाती हैं। जानकारी के लिए बता दें कि भारतीय वायुसेना में इस समय 17 महिला फाइटर पायलट हैं। भारतीय सेना और भारतीय नौसेना में अभी टोटल 145 महिला हेलिकॉप्टर और मालवाहक पायलट हैं। घर पर प्यार से बुलबुल बुलाए जाने वाली अवनी ने बचपन से ही आसमान की ऊंचाइयों को छूने का सपना देख लिया था। अवनी बचपन में अपनी मां से कह चुकी थी कि एक दिन मैं भी कल्पना चावला की तरह आपका नाम रोशन करूंगी। उनकी मां के अनुसार, जब कल्पना चावला का निधन हुआ था तो घर में इसकी चर्चा चल रही थी। उस समय अवनी की उम्र 10 साल की थीं और उसने कहा था, 'आप चिंता मत करिये, मैं भी कल्पना चावला की तरह बनूंगी।'

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