नई दिल्ली। केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के विरोध में कई महीनों से आंदोलनरत किसान सोमवार 18 अक्टूबर को रेल रोको आंदोलन चलाएंगे। भारतीय किसान यूनियन के नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सभी किसान भाई स्टेशनों के पास जाकर ट्रेनें रोकें। उन्होंने कहा कि तीनों कृषि कानूनों को रद्द कराने, एमएसपी पर फसलों की खरीद की गारंटी का कानून बनवाने और लखीमपुर खीरी हत्याकांड में गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा की गिरफ्तारी की मांग को लेकर रेल रोको आंदोलन बुलाया जा रहा है। इसको सफल बनाने के लिए सभी जगहों पर किसान आगे आएं।
चढ़ूनी ने सरकार को चेतावनी दी है। हरियाणा के रोहतक में आयोजित किसान महापंचायत में भारतीय किसान यूनियन (Bhartiya Kisan Union) हरियाणा के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सहनशीलता की भी एक सीमा होती है, हमारे धैर्य की परीक्षा मत लो। साथ ही उन्होंने किसानों से कहा कि हमें हिंसा नहीं करनी चाहिए। सरकार के पास अभी भी इस मुद्दे को सुलझाने का समय है।
किसानों को संबोधित करते हुए गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा, ' सरकार यह सोच ले कि यह डरते हुए बैठे हैं धरने पर इसके आगे नहीं बढ़ते हैं। सब कुछ करना जानते हैं। 26 जनवरी को देख लिया होगा। बस हम शांति बनाए रखना चाहते हैं।' साथ ही चढ़ूनी ने हरियाणा सरकार पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार ने कई लोगों के सिर फोड़ दिए और कई लोगों की हड्डियां तोड़ दी। साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार कई सौ लोगों पर मुकदमे बना चुकी है।
उन्होंने हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर पर निशाना साधते हुए कहा, 'हरियाणा सरकार का मुख्यमंत्री कहता है लठ उठा लो और वैसे भी वो संयोग नहीं है, अचानक नहीं है। हरियाणा का मुख्यमंत्री उस दिन कहता है कि लठ उठा लो और उत्तर प्रदेश में उसी दिन किसानों को कुचल दिया जाता है, सरकारी गुंडों के द्वारा।'
उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा, "हमारे सब्र का इम्तिहान न ले, लेकिन फिर भी हम अपने भाइयों को समझा देना चाहते हैं कि हमें हाथ नहीं उठाना है। सरकार मारेगी, लठ मारेगी, डंडे मारेगी, जेलों में भी ले जाएगी, जाएंगे। सरकार का हर जुल्म सहेंगे। हमें हाथ नहीं उठाना है। अगर हमने हाथ उठा लिया तो ये कहीं जाति में फंसाएंगे, कहीं धर्म में फसाएंगे। यदि हमने हाथ उठा लिया तो आम जनमानस हमारे विरुद्ध हो जाएगा।"