कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) ने बजट 2023 की आलोचना करते हुए इसे गरीब विरोधी बताया। सोनिया गांधी ने कहा कि यूपीए के दौरान बनाई गई सामाजिक योजनाओं के खर्च में मोदी सरकार ने कटौती की। एक राष्ट्रीय अखबार में प्रकाशित लेख में सोनिया गांधी ने पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि गरीब और मध्यम वर्ग की कीमत पर अपने दोस्तों को फायदा पहुंचाने की प्रधानमंत्री की नीति को देश बर्बादी की तरफ ले जा रही है।
अडानी मामले की तरफ इशारा करते हुए सोनिया गांधी ने कहा आम लोगों की जमा पूंजी खतरे में है क्योंकि सरकार एलआईसी और एसबीआई जैसे भरोसेमंद सार्वजनिक संस्थानों पर पीएम के दोस्तों की कंपनी में निवेश करने का दबाव डालती है। उन्होंने कहा कि बजट में गरीबों और कमजोरों के लिए आवंटन को कम करके उनकी स्थिति और भी खराब की गई है। उन्होंने इसे मोदी सरकार की गरीबों पर साइलेंट स्ट्राइक बताया। सोनिया गांधी ने कहा आजादी का वादा केवल लोगों की बुनियादी जरूरत को पूरा करने भर का नहीं था बल्कि हर भारतीय को अच्छी जिंदगी देने का था।
उन्होंने कहा कि यह साइलेंट स्ट्राइक ऐसे समय में हुई है जब हमारी आर्थिक स्थिति लगातार दयनीय बनी हुई है। उन्होंने पीएम से सवाल पूछते हुए लिखा, इस संकट के दौरान सामाजिक योजनाओं पर इस हमले की क्या जरूरत थी। सोनिया गांधी ने तंज कसते हुए कहा, एक तरफ पीएम और उनके मंत्री अमृत काल और विश्वगुरु का नारा दे रहे हैं, दूसरी तरफ पीएम के पसंदीदा उद्योगपति से जुड़ा आर्थिक घोटाला उजागर हो रहा है। कांग्रेस ने कहा कि भारत की जनता इस प्रोपेगैंडा के बहकावे में नहीं आएगी। अब यह हर समान विचारधारा वाले भारतीय का कर्तव्य है कि वह हाथ मिलाएं, इस सरकार के हानिकारक कार्यों का विरोध करें और साथ मिलकर उस बदलाव का निर्माण करें जिसे लोग देखना चाहते हैं।